अगर इस समय गर्भवती महिला कोई हैवी दवा खा ले और वह नुक़सान कर जाये तो पेट में पल रहा बच्चा किन्नर पैदा होने की संभावना बढ़ सकती है. साथ ही अगर गर्भवती महिला डॉक्टर के सलाह बिना गर्भपात की दवा खाती है तो भी किन्नर बच्चा पैदा होने का ख़तरा बढ़ता है.
एक मेडिकल साइंस के अनुसार. महिलाए जब गर्भवती हो जाती है तबसे करीब तीन महीने बाद पेट शिशु का विकास होना शुरू हो जाता है.
गर्भवती के इस समय अगर उस महिला को कोई बीमारी या समस्या आती है तो गर्भ में हार्मोन्स की समस्या के कारण पेट में पल रहे उस शिशु के शरीर के अंदर महिला और पुरुष दोनों के ऑर्गन्स आने लगते हैं.
हमारे देश में किन्नरों को समाज में एक अलग नज़र से देखा जाता है. इतना ही नहीं उन्हें तो कोई काम भी नहीं देता जिससे वह लोग रोजी-रोटी के लिए ट्रेनों और सड़को पर पैसे मांगते नज़र आने लगते हैं. किन्नरों में आधे पुरुष और आधे स्त्री के गुण पाए जाते हैं. आपके दिमाग़ में भी यह सवाल आता ही होगा कि किन्नर कैसे पैदा होते हैं?